Byju’s Crisis: Byju’s इन दिनों आर्थिक संकट के दौर से गुजर रही है। इस बीच Byju’s के निवेशकों ने हाल ही में एक बैठक बुलाए जाने की घोषणा की थी। हालांकि बैठक से पहले ही कर्नाटक हाईकोर्ट का एक अहम फैसला आया है। कर्नाटक हाईकोर्ट (Karnataka High Court) ने एक आदेश पारित किया है जिसमें Byju’s के शेयरधारकों से कहा गया है कि वे अपनी याचिका की अंतिम सुनवाई तक एडटेक दिग्गज बायजू के चुनिंदा निवेशकों के जरिए आयोजित EGM के दौरान पारित होने वाले किसी भी प्रस्ताव को प्रभावी न करें। Byju’s ने मध्यस्थता और सुलह अधिनियम की धारा 9 के तहत एक याचिका दायर कर अदालत से अपने शेयरधारकों को 23 फरवरी को EGM आयोजित करने से रोकने की मांग की।
13 मार्च को अगली सुनवाई
सूत्रों ने मनीकंट्रोल को बताया कि मामले में अगली सुनवाई 13 मार्च को होनी है। उन्होंने कहा कि EGM योजना के अनुसार होगी लेकिन बैठक का नतीजा याचिका की अंतिम सुनवाई के अधीन होगा। कर्नाटक हाईकोर्ट का आदेश इस बैठक पर रोक लगाने का संकेत नहीं देता है, बल्कि यह इंगित करता है कि ईजीएम में पारित कोई भी प्रस्ताव अगली सुनवाई तक प्रभावी नहीं हो सकता है।
बोर्ड का पुनर्गठन
कोर्ट का फैसला तब आया है, जब Byju’s के निवेशक आने वाले दिनों में एक अहम बैठक करने वाले थे। दरअसल, इस बैठक को Byju’s के कुछ सबसे बड़े निवेशकों ने कंपनी के नेतृत्व को हटाने और इसके बोर्ड का पुनर्गठन करने के लिए 23 फरवरी को बुलाया है।
ये निवेशक हैं शामिल
ईजीएम के लिए आवेदन करने वाले निवेशकों में जनरल अटलांटिक, चैन जुकरबर्ग इनिशिएटिव, एमआईएच एडटेक इन्वेस्टमेंट्स, ओन वेंचर्स, पीक एक्सवी पार्टनर्स (पूर्व में सिकोइया कैपिटल इंडिया एंड एसईए), एससीआई इन्वेस्टमेंट्स, एससीएचएफ पीवी मॉरीशस, सैंड्स कैपिटल ग्लोबल इनोवेशन फंड, सोफिना, टी. रोवे प्राइस एसोसिएट्स शामिल हैं।
राइट्स इश्यू
इससे पहले 21 फरवरी को, संकटग्रस्त एडटेक कंपनी के संस्थापक और सीईओ बायजू रवींद्रन ने अपने शेयरधारकों को एक पत्र लिखा था और कहा था कि 99 प्रतिशत की मूल्यांकन कटौती पर 200 मिलियन डॉलर जुटाने के लिए जारी राइट्स इश्यू को पूरी तरह से सब्सक्राइब हो गया है।