राज्य के उपमुख्यमंत्री डी. के. शिवकुमार के खिलाफ एक आवासीय सोसाइटी के निवासियों को ‘वोट के बदले जल आपूर्ति’ का कथित वादा करने के कारण आदर्श आचार संहिता के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी है। निर्वाचन आयोग ने बताया कि यह प्रकरण बेंगलुरु ग्रामीण लोकसभा क्षेत्र की एक आवासीय सोसाइटी का है।
बेंगलुरु । कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी. के. शिवकुमार के खिलाफ यहां एक आवासीय सोसाइटी के निवासियों को ‘वोट के बदले जल आपूर्ति’ का कथित वादा करने के लिए आदर्श आचार संहिता (एमसीसी) के उल्लंघन से संबंधित एक प्राथमिकी दर्ज की गयी है। निर्वाचन आयोग ने शनिवार को यह जानकारी दी।
यह मामला उस वक्त सामने आया जब बेंगलुरु ग्रामीण लोकसभा क्षेत्र की एक आवासीय सोसाइटी के निवासियों से वोट मांगने का एक वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर व्यापक रूप से साझा किए जाने के बाद भाजपा ने शिवकुमार के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए निर्वाचन आयोग से संपर्क किया। कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर कहा कि आरआर नागरा में अपार्टमेंट मालिकों को संबोधित करते हुए एमसीसी के उल्लंघन के लिए उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार के खिलाफ बेंगलुरु की एफएसटी (फ्लाइंग स्क्वाड टीम) द्वारा एक प्राथमिकी दर्ज की गई है।
इसमें कहा गया है कि चुनाव में रिश्वतखोरी और अनुचित प्रभाव के लिए भारतीय दंड संहिता की उचित धाराओं के तहत आरएमसी यार्ड पुलिस थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई है। वीडियो क्लिप में शिवकुमार को कथित तौर पर यह कहते हुए सुना गया था कि वह एक व्यावसायिक सौदे के लिए आए हैं और यदि आवासीय सोसाइटी के 2,510 घर के करीब 6,424 वोट उनके उम्मीदवार के पक्ष में गए, तो वह आश्वस्त करते हैं कि कावेरी नदी से जल आपूर्ति और नागरिक सुविधा स्थल की समस्या का समाधान तीन महीने के भीतर कर दिया जाएगा। शिवकुमार के भाई डी के सुरेश लोकसभा चुनाव में बेंगलुरु ग्रामीण से फिर से चुनाव लड़ रहे हैं।
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