चाइनीज स्मार्टफोन कंपनी वीवो (Vivo) के कुछ सीनियर एंप्लॉयीज को भारतीय एजेंसी ने हिरासत में लिया हुआ है। इसे लेकर अब चीन का कहना है कि वह इन एंप्लॉयीज को कांसुलर प्रोटक्शन और सहयोग मुहैया कराएगा। इसके अलावा चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने यह भी कहा कि भारत से चीनी कंपनियों के साथ भेदभाव नहीं करने का आग्रह किया जाएगा। माओ निंग (Mao Ning) ने ये बातें नियमित तौर पर होने वाली प्रेस कांफ्रेंस में कही। उन्होंने कहा कि चीन सरकार सभी गतिविधियों पर करीब से निगरानी कर रही है और चाइनीज कंपनियों के कानूनी अधिकार और हितों की सुरक्षा का समर्थन करती है।
मंगलवार को कोर्ट में किया जाएगा पेश
वीवो के जिन सीनियर एंप्लॉयीज को लेकर चीन यह कवायद कर रहा है, उन्हें भारत की वित्तीय अपराधों के खिलाफ काम करने वाली एजेंसी ने हफ्ते हिरासत में लिया था। पिछले हफ्ते वीवो इंडिया के दो सीनियर एंप्लॉयीज को हिरासत में लिया गया था। कंपनी ने इस कदम को कानूनी तौर पर चुनौती देने की बात कही थी। मामले से सीधे जुड़े एक शख्स ने न्यूज एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि दोनों को शनिवार को दिल्ली की एक अदालत में लाया गया और प्रवर्तन निदेशालय (ED) की हिरासत में भेज दिया गया। इन्हें अब मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा। हालांकि जिन्हें हिरासत में लिया गया है, उनकी पहचान नहीं हो पाई है।
दो महीने में Vivo के चार एंप्लॉयीज हुए थे गिरफ्तार
केंद्रीय एजेंसियों ने वीवो के दो सीनियर एंप्लॉयीज को हिरासत में लिया है और यह पहली बार नहीं है। इससे करीब दो महीने पहले ईडी ने कंपनी की भारतीय इकाई के चार इंडस्ट्री एग्जेक्यूटिव्स को हिरासत में लिया था। इसमें से एक शख्स चाइनीज नागरिक था। यह कार्रवाई मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में हुई थी। हालांकि कंपनी ने सभी आरोपों से इनकार किया था।
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