वोडाफोन-आइडिया ने 25 अप्रैल को किसी एक स्टॉक में ट्रेडिंग के वॉल्यूम का नया रिकॉर्ड बना दिया। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) में 1,000 करोड़ से भी ज्यादा शेयरों की ट्रेडिंग हुई। इससे पहले 23 अप्रैल को 308 करोड़ के शेयरों की ट्रेडिंग हुई थी। इस जबरदस्त ट्रेडिंग गतिविधि के बीच वोडाफोन के शेयरों में भी शानदार तेजी रही है और 11 रुपये के FPO प्राइस से 25 पर्सेंट ऊप तक चढ़ गया है। हालांकि, शेयर बाजार की हालिया तेजी में वोडाफोन काफी पिछड़ गया था।
कंपनी ने हाल में अपने FPO के जरिेये 18,000 करोड़ रुपये जुटाए हैं। इस FPO को कुछ इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स का साथ मिला है। FPO की वजह से कंपनी के शेयरों में निवेशकों की दिलचस्पी फिर से बढ़ रही है। वोडाफोन आइडिया का 18000 करोड़ रुपये का एफपीओ 6 गुना से ज्यादा सब्सक्राइब होकर बंद हुआ था। संस्थागत निवेशकों की बदौलत एफपीओ ओवरसब्सक्राइब हुआ था। हालांकि, रिटेल निवेशकों के एफपीओ को फीका रेस्पॉन्स मिला है। रिटेल निवेशकों का कोटा एक गुना भी नहीं भर सका और एफपीओ केवल केवल 0.91 गुना ही सब्सक्राइब हुआ था।
बीएसई के डेटा के मुताबिक संस्थागत निवेशकों के लिए कुल 360 करोड़ शेयर रखे गए थे और कुल 63,21,05,38,776 शेयरों के लिए इस कैटगरी में आवेदन प्राप्त हुआ था। संस्थागत निवेशकों के लिए रिजर्व कोटा कुल 17.56 गुना सब्सक्राइब हुआ। गैर-संस्थागत निवेशकों के लिए कुल 2,70,00,00,00 शेयर रिजर्व रखे गए थे और कुल 11,14,38,94,630 शेयर्स के लिए आवेदन मिला। यह कैटगरी कुल 4.13 गुना सब्सक्राइब हुआ।
कंपनी ने एंकर निवेशकों से 11 रुपये के प्राइस लेवल पर 5,400 करोड़ रुपये जुटाए हैं। सिटीग्रुप, गोल्डमैन सैक्स, जीक्यूजी पार्टनर्स, फिडिलिटी, यूपीएस फंड मैनेजमेंट, एचडीएफसी म्यूचुअल फंड जैसे निवेशक एंकर निवेशकों में शामिल हैं।