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UNRWA के कुछ कर्मचारियों के बारे में संयुक्त राष्ट्र जाँच पूरी

जनवरी (2024) में इसराइल ने आरोप लगाया था कि UNRWA के कुछ कर्मचारी हमास द्वारा 7 अक्टूबर (2023) को इसराइल के दक्षिणी इलाक़े में किए गए आतंकवादी हमले में शामिल थे.

संयक्त राष्ट्र ने उन आरोपों की जाँच आन्तरिक जाँच व्यवस्था -OIOS से कराने की घोषणा की थी.

अलबत्ता, OIOS, इसराइल द्वारा इन आरोपों के समर्थन में सौंपी गई जानकारी की प्रामाणिकता की स्वतंत्र रूप से पुष्टि नहीं कर सका.

उस जाँचत के कुछ निष्कर्ष, सोमवार को महासचिव के उप प्रवक्ता फ़रहान हक़ ने प्रैस के साथ साझा किए.

उन्होंने न्यूयॉर्क में पत्रकारों को बताया कि जाँच कर्ताओं ने UNRWA के 19 कर्मचारियों के बारे में ये जाँच निष्कर्ष जारी किए हैं.

उप प्रवक्ता फ़रहान हक़ ने कहा, “एक मामले में, )आतंकवादी गतिविधियों में) कर्मचारी के शामिल होने के आरोपों को साबित करने के लिए, OIOS को कोई सबूत हासिल नहीं हुए. जबकि 9 अन्य मामलों में, OIOS को जो सबूत प्राप्त हुए, वो (आतंकवादी गतिविधियों में) कर्मचारियों के शामिल होने के आरोपों को साबित करने के लिए पर्याप्त नहीं थे.”

उन्होंने बताया कि इन दस मामलों में, UNRWA के नियमों के अनुसार उचित कार्रवाई की जाएगी.

शेष 9 मामलों में OIOS को प्राप्त हुए सबूतों से संकेत मिलता है कि UNRWA के इन कर्मचारियों का, 7 अक्टूबर के हमलों में कोई हाथ हो सकता है.

UNRWA के महाआयुक्त फ़िलिपे लज़ारीनी ने एक वक्तव्य में, इस जाँच के पूरा होने का ज़िक्र किया है.

उपयुक्त कार्रवाई

OIOS संयुक्त राष्ट्र व्यवस्था की सर्वोच्च जाँच संस्था है और इसकी रिपोर्ट गोपनीय होती है, मगर सदस्य देशों के अनुरोध पर उन्हें उपलब्ध कराई जा सकती है.

फ़िलिपे लज़ारिनी ने ये जाँच निष्कर्ष जारी होने के बाद कहा, “मैंने इन 9 कर्मचारियों के मामले में निर्णय किया है कि वो UNRWA के लिए काम नहीं कर सकते. इस एजेंसी के हित में, इन कर्मचारियों के रोज़गार प्रबन्ध रद्द किए जाएंगे.”

सूचना प्रामाणिक नहीं

फ़रहान हक़ ने, इन कर्मचारियों के, आतंकवादी गतिविधियों में शामिल होने के दायरे के बारे में पूछ जाने पर कहा कि विशिष्ट आरोपों के बारे में विशिष्ट जानकारी उनके पास नहीं है.

उन्होंने बताया कि OIOS की जाँच के दौरान इसराइल जाकर वहाँ के अधिकारियों से बातचीत करना और उनके पास उपलब्ध जानकारी की समीक्षा व जाँच-पड़ताल करना शामिल रहा है.

इस यूएन जाँच एजेंसी के जाँचकर्ताओं ने UNRWA के पास उपलब्ध प्रासंगिक जानकारी हासिल करने के लिए, जॉर्डन की राजधानी अम्मान की भी यात्रा की.

फ़रहान हक़ ने कहा, “अलबत्ता, एक बात की तरफ़ में ख़ास ध्यान आकर्षित करना चाहता हूँ कि इसराइल सरकार ने अपने आरोपों के समर्थन में जिस सूचना व जानकारी का इस्तेमाल किया है वो इसराइली के पास ही है, और OIOS को जो कुछ जानकारी मुहैया कराई गई, वो स्वतंत्र रूप से उस जानकारी की सटीकता या प्रामाणिकता की पुष्टि नहीं कर सका है.”

फ़रहान हक़ से जब यह पूछा गया कि OIOS के जाँच निष्कर्षों के बारे में यूएन महासचिव के क्या विचार हैं तो उन्होंने कहा कि यूएन प्रमुख का “मानना है कि इस बारे में बहुत सावधान बरती जाए, चूँकि इन हमलों में किसी भी तरह से शामिल होना, बहुत बड़ा धोखा है.”

उप प्रवक्ता फ़रहान हक़ ने, ग़ाज़ा युद्ध का ज़िक्र करते हुए यह याद रखने की महत्ता को रेखांकित किया कि भारी संख्या में UNRWA के कर्मचारी, महीनों से भारी जोखिम उठाकर, हज़ारों लोगों को जीवित रखने में मदद कर रहे हैं, उन्हें आश्रय और भोजन व अन्य सेवाएँ मुहैया कराकर.

उन्होंने कहा, “हम यह उजागर करना चाहते हैं कि UNRWA के हमारे स्टाफ़, हमारे समर्पित कर्मचारियों की प्रतिष्ठा को पूरी तरह से मान्यता मिल रही है, और इन्हीं कर्मचारियों की बदौलत, UNRWA को वो समर्थन मिलता है, जिसकी उसे ज़रूरत है.”

उन्होंने कहा कि इन कर्मचारियों में वो 200 लोग भी शामिल हैं जिन्होंने 7 अक्टूबर के बाद से अपनी ज़िन्दगियाँ ख़त्म कर दी हैं.

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