अमेरिकी फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च की एक रिपोर्ट के बाद अडानी ग्रुप के निवेशकों को एक दिन में 1 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। इसके बाद समूह ने आज कहा कि वह अमेरिकी कंपनी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की योजना बना रहा है।
अदाणी समूह के लीगल हेड (legal head) जतिन जालंधवाला ने एक बयान में कहा, “हम हिंडनबर्ग रिसर्च के खिलाफ उपचारात्मक और दंडात्मक कार्रवाई के लिए अमेरिकी और भारतीय कानूनों के तहत प्रासंगिक प्रावधानों का मूल्यांकन कर रहे हैं।”
हिंडनबर्ग की रिपोर्ट को दुर्भावनापूर्ण रूप से आधारहीन बताते हुए समूह ने कहा कि वह एक विदेशी कंपनी द्वारा इन्वेस्टर समुदाय और आम जनता को गुमराह करने, अदाणी समूह और उसके अधिकारियों की प्रतिष्ठा को कम करने के इस जानबूझकर और लापरवाह प्रयास से बहुत परेशान है।
उसने कहा, “रिपोर्ट द्वारा बनाई गई भारतीय शेयर बाजारों में अस्थिरता बहुत चिंता का विषय है और इसने भारतीय नागरिकों के लिए बिना किसी कारण के परेशानी को खड़ा किया है।”
समूह ने कहा कि रिपोर्ट और इसके निराधार कंटेंट को अदाणी समूह की कंपनियों के शेयर मूल्यों पर हानिकारक प्रभाव डालने के लिए डिज़ाइन किया गया था।
अदाणी समूह के सीएफओ जुगशिंदर सिंह ने बुधवार को आरोप लगाया था कि रिपोर्ट जारी करने का समय उसके FPO को नुकसान पहुंचाने के दुर्भावनापूर्ण इरादे से किया गया था, जो कल से सब्सक्रिप्शन के लिए खुलेगा।
बात दें कि रिपोर्ट जारी होने के बाद बुधवार को अदाणी समूह के शेयरों में 10 प्रतिशत तक की गिरावट आई और 10 काउंटरों पर 96,672 करोड़ रुपये के बाजार पूंजीकरण के साथ कारोबारी सत्र का अंत हुआ। समूह के निवेशकों को इस रिपोर्ट के बाद लगभग एक लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है।
