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भारत: सर्कुलर फ़ैशन चुनौती 2024 में टिकाऊ परिधानों की आभा

भारत: सर्कुलर फ़ैशन चुनौती 2024 में टिकाऊ परिधानों की आभा

भारत में संयुक्त राष्ट्र के सहयोग से आयोजित सर्कुलर डिज़ाइन चुनौती प्रतियोगिता के छठे संस्करण में के फ़ाइनल में सात प्रतिभागियों ने अपने डिज़ाइनर परिधान प्रस्तुत किए.

भारतीय फ़ैशन डिज़ाइन परिषद (FDCI) के सहयोग से आयोजित इस सतत फ़ैशन शो में सभी डिज़ाइनरों ने टिकाऊ फ़ैशन के परिधान व उत्पाद पेश करके, दर्शकों को मंत्र-मुग्ध कर दिया.

छठे संस्करण के फाइनल में कई देशों के प्रतिभागी शामिल थे: योरोपियन यूनियन से वेनयान क्षू और मेंग वांग (Saltless); एशिया-प्रशान्त देशों के समूह से त्सांग फैन यू; ब्रिटेन से सिल्विया एसिएन (ACIEN); भारत से गौतम मलिक (Jaggery), ऋत्विक खन्ना (RKive City) और चंदिनी बत्रा (A Blunt Story), तथा रश्मिक बोस एवं दृष्टि मोदी (Lafaani) भारत से वाइल्डकार्ड प्रविष्टि के रूप में शामिल हुए.

प्रतियोगिता के अन्तिम चरण की प्रतिष्ठित ज्यूरी में फ़ैशन उद्योग के दिग्गज शामिल थे. इनमें भारत में संयुक्त राष्ट्र के रैज़िडेंट कोऑर्डिनेटर शॉम्बी शार्प और यूएनडीपी की एसडीजी पैरोकार अभिनेत्री भूमि पेडनेकर भी शामिल थे.

डिज़ाइनर ऋत्विक खन्ना के Rkive City लेबल को सर्कुलर डिज़ाइन चैलेंज के छठे संस्करण का विजेता घोषित किया गया, जबकि दृष्टि मोदी और रश्मिक बोस का Lafaani ब्रैंड, उपविजेता रहा.

इस अवसर पर विजेता ऋत्विक खन्ना ने कहा, “मुझे लगता है कि हमारे लिए यह जीत, इस भरोसे का सबूत है कि हमारा विश्वास सही है. हम जो कपड़े बनाते हैं और जो अप-सायकलिंग करते हैं, उससे अगली पीढ़ी के लोगों में यह विश्वास जागेगा कि यह सम्भव है.”

सर्कुलर डिज़ाइन चैलेंज (CDC), 2018 में शुरुआत के बाद से, वैश्विक स्तर पर अपने परिपत्र नवाचारों को प्रदर्शित करने के लिए टिकाऊ फ़ैशन में उभरती प्रतिभाओं के लिए एक अग्रणी मंच बन गया है. 

भारत में यूएनडीपी की एसडीजी चैम्पियन, अभिनेत्री भूमि पेडनेकर और यूएन रैज़िडैन्ट कोऑर्डिनेटर, शॉम्बी शार्प, उप-विजेता 'लफ़ानी' ब्रैंड को पुरस्कार देते हुए.

सर्कुलर डिज़ाइन चैलेंज ने, अपने छठे संस्करण में ब्रिटिश काउंसिल, Istituto Marangoni और Redress जैसी कई वैश्विक संस्थाओं के साथ साझेदारी में दुनिया भर में यात्रा करते हुए इन नवोन्मेषकों की खोज की है. 

महाद्वीपों की इन यात्राओं में लन्दन, मिलान, हाँगकाँग और मुंबई में उद्योग विशेषज्ञों और प्रमुख अन्तरराष्ट्रीय मीडिया के प्रभावी लोगों ने ज्यूरी ने भाग लिया. 

भारत में संयुक्त राष्ट्र के रैज़िडेंट कोऑर्डिनेटर शॉम्बी शार्प ने इस अवसर पर कहा, “हम सर्कुलर डिज़ाइन चुनौती प्रतियोगिता के सहयोगियों के साथ मिलकर, ऊर्जा दक्षता और नैतिक रूप से उत्पादित सामग्रियों के उपयोग में नवाचारों आगे बढ़ाने में मदद कर रहे हैं.” 

फ़ैशन उद्योग को टिकाऊ बनाने की प्रेरणा

भारत में संयुक्त राष्ट्र के साथ साझेदारी में प्रस्तुत सर्कुलर डिज़ाइन प्रतियोगिता, पर्यावरण के प्रति जागरूक रचनात्मकता को बढ़ावा देकर, एक हरित एवं अधिक टिकाऊ भविष्य का मार्ग प्रशस्त करती है. इसके ज़रिए, फ़ैशन उद्योग में अपशिष्ट एवं कार्बन पदचिह्न की अहम समस्याओं पर ध्यान देने के प्रयास किए जा रहे हैं.

सर्कुलर डिजाइन प्रतियोगिता भारत के फ़ैशन उद्योग को पर्यावरण अनुकुल समाधान अपनाने के लिए प्रेरित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है. 

इसका उद्देश्य विस्तार योग्य, अपशिष्ट-घटाने वाले समाधान खोजने के लिए, टिकाऊ फ़ैशन से जुड़ी प्रतिभाओं को प्रोत्साहन देने के लिए एक वैश्विक मंच प्रदान करना है. इसकी शुरुआत, भारत में छह साल पहले हुई थी. वर्ष 2023 में इसकी पहुँच बढ़ी और पहली बार इसे विश्व स्तर पर आयोजित किया गया.

सर्कुलर जिज़ाइन चुनौती 2024 के आख़िरी राउंड की ज्यूरी के साथ, सात फ़ाइनलिस्ट.

सर्कुलर डिज़ाइन प्रतियोगिता 2024 के विजेता को 15 लाख रुपए का वित्त-पोषण, सीडीसी की ट्रॉफ़ी और छह महीने का मेंटरशिप प्रोग्राम प्रदान किया गया है. 

साथ ही 2025 के लैक्मे फैशन वीक के दौरान उन्हें अपने उत्पाद अलग से पेश करने का अवसर भी दिया जाएगा. वहीं उपविजेता को 5 लाख रुपए का वित्त-पोषण एवं मेंटरशिप प्रदान की गई है.

सर्कुलर डिज़ाइन प्रतियोगिता के फ़ाइनल प्रतिभागी

गौतम मलिक- कचरे की पुनर्कल्पना

2018 में Jaggery bags शुरू करते समय गौतम मलिक का केवल एक ही लक्ष्य था, कचरे को पहनने योग्य कला में बदलना.

उन्होंने ऑटोमोबाइल एवं रक्षा क्षेत्रों से निकलने वाले कचरे को फ़ैशन की नई दिशा देत हुए, कार सीटबेल्ट, कार्गो बेल्ट, डीकमीशन किए गए सैन्य पैराशूट, पूर्व सेना कैनवास और पुराने सेना तम्बू जैसी बेकार सामग्रियों का उपयोग करके, कपड़ों की एक शानदार श्रृँखला डिज़ाइन की.

इससे कचरे की रि-सायकलिंग के अलावा, कारीगरों को समर्थन, महिला मज़बूती एवं प्लास्टिक रीसायकलिंग के क्षेत्र में भी मदद मिली.  

चान्दनी बत्रा – टिकाऊ पदचिह्न

चान्दनी बत्रा की ‘ब्लंट स्टोरी’ एक फ़ुट वियर लाइन है, जिसमें पौधों पर आधारित, पुनर्नवीनीकरण सामग्री से निर्मित जूतों के सोल के निर्माण में प्लास्टिक व कच्चे तेल का उपयोग बिल्कुल हटा दिया गया.

इन जूतों में सिंथेटिक्स की जगह कॉर्क और चावल की भूसी जैसे प्राकृतिक पदार्थों का इस्तेमाल किया गया है.

प्लास्टिसाइज़र के रूप में सोया व ताड़ के तेल के ज़रिए, कार्बन पदचिह्न घटाने की कोशिश की गई है. ये जूते 96 प्रतिशत जैव-आधारित अनक्रूड फ़ुट बेड के साथ, पैरों को ठंडा, सूखा एवं विषाक्त मुक्त रखते हैं.

ऋत्विक खन्ना – स्थाई पारिस्थितिकी तंत्र

ऋत्विक खन्ना के ब्रैंड Rkive City की विशेषता रही है, अप-सायकिल्ड डेनिम.

प्रदर्शित “फ़र्स्ट कन्क्लूज़न” नामक संग्रह की संकल्पना, पुराने धागों, ज़िपर बटनों और भविष्य में उपयोग के लिए बचाई गई चीज़ों से की गई थी.

स्थिरता के लिए पैचवर्क, पैनलिंग आदि का उपयोग किया गया. इस ब्रैंड की लोकप्रियता न केवल भारत, बल्कि विश्व स्तर पर भी तेज़ी से बढ़ी है.

दृष्टि मोदी और रश्मिक बोस- बायोडिग्रेडेबल कपड़े

दृष्टि मोदी और रश्मिक बोस ने तीन साल पहले लफ़ानी लेबल शुरू किया. वो इसके तहत 100 प्रतिशत बायो-डिग्रेडेबल कपड़े डिज़ाइन करते हैं.

इस जोड़ी ने हाथ से पेंट किए गए वस्त्रों के लिए गुजरात के कला कॉटन, महाराष्ट्र के मन्दिर के फूलों, व तमिलनाडु, कर्नाटक और पश्चिम बंगाल के कॉटन का इस्तेमाल किया.

लफ़ानी के स्थिरता प्रयासों में वर्षा आधारित क्षेत्रों से कला व भूरा कपास, हाथ से बुने हुए कपड़े, प्राकृतिक एज़ो मुक्त रंगाई, शून्य अपशिष्ट उपाय, टिकाऊ पैकिंग, न्यूनतम कार्बन पदचिह्न और रीसायकलिंग शामिल हैं.

उनका संग्रह “मीडोज़” गहरे ज़ैतूनी, हरे, पीले, नीले और कोरा रंगों में मन को मोह लेने वाला था.

त्सांग फ़ैन यू – समकालीन फ़ैशन

त्सांग फैन यू, अपना समकालीन फ़ैशन ब्रैंड प्रस्तुत करते हुए.

त्सांग फ़ैन यू किमोनो और लाइफ़ जैकेट जैसे स्थानीय जापानी स्रोतों से प्राप्त, कपड़े के कचरे का पुनर्उपयोग करते है, और उन्हें अन्ननास के रेशों व और सेब से बनाए चमड़े जैसी प्राकृतिक सामग्री के साथ मिलाकर उत्पाद बनाते हैं. 

इससे री-सायकलिंग के ज़रिए कचरा लैंडफिल में जाने से रोकने में मदद मिलती है. 

सिल्विया एसिएन – एक काव्यात्मक अन्वेषण

सिल्विया एसिएन का ब्रैंड, प्रकृति से प्रेरित है.

सिल्विया एसिएन का ब्रैंड, एशियन प्रकृति से मिली प्रेरणाओं पर आधारित है. उनके संग्रह, “द फ़्रीकल” संग्रह ने हिमालयन बिछुआ, अन्नास के रेशे, टेंसेल, पुनर्योजी मेरिनो ऊन और जैविक कपास का उपयोग करके अभिनव उत्पाद बनाए. 

पोशाकों को प्राकृतिक पौधों के रंगों से रंगकर, आकर्षक, स्ट्रैपी पोशाकें, मिनी, ब्लाउज़, पैंट आदि पोशाकें बनाई गई. 

इनमें स्पेन के पहाड़ों से एकत्रित सूखी शाखाओं को दिलचस्प स्पैनिश बुनाई तकनीकों के उपयोग से विभिन्न उत्पादों में बदला गया.

मेंग वांग और वेनयान क्षू – फ़ैशन को एक ऐतिहासिक सम्मान

मेंग वांग और वेनयान क्षू के ब्रैंड Saltless को 2019 में मिलान के लीमा में जारी किया गया था. इसमें पुरानी इतालवी शिल्प कौशल को स्थिरता के साथ जोड़ा गया है. 

लगभग 80 प्रतिशत उत्पाद, सिलाई से बचे कपड़ों और क़ारखानों के अपशिष्ट पदार्थों के पुन: उपयोग से निर्मित थे. इनसे बनी जैकेट, स्कर्ट, मल्टी पॉकेट पैंट, गिलेट्स, कोट व मैक्सी का बोल्ड, सैन्य स्टाइल, भविष्यवादी था.

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